लाएंगे Nano हम भी एक लाख में
चार चांद लगाएंगे Tata की साख में
नैनों में खुमार
है Nano का आज
निहार रहे सब
छोड़ काम काज
ज़िक्र है इसका हर एक बात में
लाएंगे Nano हम भी एक लाख में
हमने कहा इसे जाने दो
हम हैं बस जानें दो
पत्नी कहे no, no, no
पड़ोसी ला रहे हैं Nano
होंगे शामिल हम भी इस भेड़ चाल में
लाएंगे Nano हम भी एक लाख में
रखेंगे कहाँ?
चलाएंगे कहाँ?
गली गूंचो में
फ़साएंगे कहाँ?
सोचेंगे समझेंगे सब ये बाद में
लाएंगे Nano हम भी एक लाख में
कुछ इस तरह
हमारी society चले
कि नाक न कटे
चाहे फ़ेंफ़ड़े जले
मंज़ुर हैं छुपाना नाक हमें mask में
लाएंगे Nano हम भी एक लाख में
विकास का सितारा
टिमटिमाया है दोबारा
हरियाली और रास्ते के बीच
फ़ंसा है बिचारा
मुश्किल से खिले हैं फूल भारत की शाख में
लाएंगे Nano हम भी एक लाख में
भाईयो और बहनो
देवियो और सज्जनो
हम और आप
चलाएंगे Nano
तर्क वितर्क जाए सब भाड़ में
लाएंगे Nano हम भी एक लाख मे.
... और 5 साल बाद दो सूरतें हो सकती हैं:
अ.
गायब है सुरज
गायब हैं तारें
गायब हो गये
उद्यान हमारे
डूबे शहर प्रदूषण की राख में
लाए थे Nano हम भी एक लाख में
ब.
प्रयत्न हमारा
हुआ सफ़ल
देश आगे
गया निकल
Nano छा गयी अमेरिका ईराक़ में
लाए थे Nano हम भी एक लाख में
दिल्ली
13 जनवरी 2008
Tuesday, January 15, 2008
Tata की Nano
Posted by Rahul Upadhyaya at 3:06 AM
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3 comments:
बहुत बढ़िया । परन्तु मेरे विचार में यह नेनो ही सरकार को यातायात के साधनों को सुधारने को मजबूर करेगी ।
घुघूती बासूती
Very nice, Rahul! Nano ko lekar logon ki ummeed ko bahut achhe se kaha aapne.
Mujhe hairani hai ki ek lakh kitni kam amount lag rahi hai sabko India mein aaj kal. Ek Lakh ki car aaj aam janta ki car ho gayi hai.
Good One !
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