Monday, December 1, 2025

इससे ज़्यादा और क्या चाहिए

मैंने कहा 

मेरी तरफ़ देखो 

उसने देखा 


मैंने कहा 

मेरा हाथ पकड़ो 

उसने पकड़ा 


मैंने कहा 

साड़ी पहन लो

उसने पहन ली 


और इस कविता में उसे

अपना अक्स नज़र आए


इससे ज़्यादा और क्या चाहिए


राहुल उपाध्याय । 1 दिसम्बर 2025 । सिएटल 



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