Sunday, October 3, 2010

भोर भए

भोर भए XX हर कोई जाए
जाए रे पशु जैसे हर कोई जाए

कोई गली, कोई डगर, कोई कोना
नाहीं छूटे, सब हैं जुटे, मारे बास
भोर भए ...


कॉमन मेन, कॉमन-फ़िल्थ, कॉमन-वेल्थ में फ़ंसा
कैसे उबरे, कैसे निपटे, सैया बेईमान
भोर भए ...


रातों को नींद, दिन में हो चैन, ऐसा है कहाँ?
गाँव, पनघट, हो सब के सब, सब्ज़ जहाँ
भोर भए..

दिल्ली | 99588-90072
3 अक्टूबर 2010
(मजरूह से क्षमायाचना सहित)
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XX = हूँ-हूँ या something-something जो मन में आए जोड़ लें. उचित शब्द यहाँ लिखना अनुचित होगा, इसलिए नहीं लिखा.
सब्ज़ = हरा
कॉमन मेन, कॉमन-फ़िल्थ, कॉमन-वेल्थ = common man, common-filth, common-wealth

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