Wednesday, March 27, 2013

न holiday है न holy day है

न holiday है न holy day है
बस ठंडा-ठंडा Wednesday है


होली तो हमारी कब की हो ली
पिछले weekend ही खेल ली होली


चन्द्र-तिथि में क्या रक्खा है?
चढ़ते सूरज को सबने मथा है


हम भी इसके पीछे आए थे घर से
लोक-लाज सब ताक पे धर के


कि एक दिन हम आराम करेंगे
धन बहुतेरा तब तक जोड़ ही लेंगे


लेकिन वो दिन अब कब आएगा यारो?
वक़्त यूँही गुज़र जाएगा यारो


और अगले साल भी हम यही कहेंगे

न holiday है न holy day है
बस ठंडा-ठंडा Monday है


27 मार्च 2013
सिएटल ।
513-341-6798

इससे जुड़ीं अन्य प्रविष्ठियां भी पढ़ें


2 comments:

Anonymous said...

कविता की शुरू और अंत की lines में intelligent connection है। पहली बार पढ़ा तो लगा typo हो गया शायद - ऊपर ठंडा Wednesday और नीचे ठंडा Monday - एक second के बाद समझ में आया कि ohhh, अगले साल होली Monday को है! :)

सब festivals तो weekend पर ही मनाये जाते हैं - एक weekend पहले या बाद में - actual festival का दिन तो usual काम में ही निकल जाता है - सही कहा आपने

Anonymous said...

आज यह कविता याद आयी - सोचा कि आज तो holiday भी है, holy day (Easter) भी है, और ठंडा-ठंडा नहीं, warm-warm Sunday भी है. काश होली का दिन भी ऐसा ही होता.