Friday, January 31, 2020

मुझसे ख़फ़ा

मुझसे ख़फ़ा 
मुझ ही से ख़ुश
मान न मान
मैं तेरा महबूब

न तू मुझसे
न मैं तूझसे जुदा
सच तो यही कि
तू मेरा वजूद

करी वफ़ाएँ
करी जफ़ाएँ 
हर हाल है सादिक़ 
तेरा सलूक

न तूझे पता
न मुझे पता
कौन किसके नशे में 
कितना है चूर

ख़्वाबों में तू
ख़यालों में तू
तू पास ही है 
होके भी दूर

राहुल उपाध्याय । 31 जनवरी 2020 । सिएटल

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