सारे सयाने
हैं इसके दीवाने
करते हैं लड़ाई
पर होता नहीं शोर-शराबा
मारते हैं लोग
पर होता नहीं खून-खराबा
कभी दौड़ाते हैं घोड़े
तो कभी लगाते हैं रोड़े
64 खानों के बीच
दो राजा, दो रानी और दो दल हैं
उंट भी हैं, घोड़े भी हैं और हाथी भी हैं
न जाने क्यूं सैनिक फिर भी चलते पैदल हैं?
खेलना है आसान
जीतना है मुश्किल
राजा को मात देना
जिस की है मंजिल
बूझिए जरा
हम भी देखे आप कितने हैं काबिल?
कौन सा है ये खेल
जिसमें शत रंज होते हैं हासिल?
[इस पहेली का हल अंतिम पंक्ति में छुपा हुआ है। ध्यान से देखे तो साफ़ नज़र आ जाएगा। उदाहरण के तौर पर देखे 'पहेली 1'
आप चाहे तो इसका हल comments द्वारा यहां लिख दे। या फिर मुझे email कर दे इस पते पर - upadhyaya@yahoo.com ]
Friday, February 8, 2008
पहेली 2
Posted by Rahul Upadhyaya at 3:00 PM
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2 comments:
YEH TO BAHUT ASAN HAI; BALKI YEH PAHELI KAHAN RAHI, ISKA UTTAR TO SAAF HAI, SHATRANJ.
SHER SINGH AGRAWAL
AGRASEN@GMAIL.COM
chess?
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