Tuesday, July 18, 2023

केजरी-ममता अब क्या सोचें

केजरी-ममता अब क्या सोचें 

खेत ही चुग गए मोदी कब से


राहुल पछताए हाथों को मल के

काहे गया परदेस गाँव को तज के

कोई यहाँ, कोई वहाँ, कोई कहाँ रे


ममता का आँगन, लफड़ों की दुनिया 

नहीं बनी नेनो, भाग गए टाटा

कोई यहाँ क्यूँ लगाए धन अपना रे 


पी-एम बने सब, सब के हैं सपने

अपने ही अपने स्वार्थ हैं सबके

कोई इन्हें क्यूँ चुने, क्यूँ चुने रे


राहुल उपाध्याय । 19 जुलाई 2023 । आगरा


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